Blog #30#
भारत के नागरिको ने वो दिन भी देखा है जब हमारे देश मे बेखौफ आतंकी बम विस्फोट करने को अपना शौक बना रखा था...वो दिन भी देखा कि हमारे सैनिक हेमराज का सर काट कर पाकिस्तानी ले जाते थे और हमारी सरकार केवल कड़ी निंदा करके चुप रह जाती थी...वो दिन भी देखा कि कैसे आतंकी संगठनो को फलने फूलने लायक माहौल बना कर तुष्टीकरण किया जाता था...यह भी जनता ने देखा था कि कैसे आतंक के पाप को ढ़ंकने के लिये भगवा आतंकवाद का नैरेटिव गढ़ कर मां भारती के सपूतों को फंसाया गया.....यह सब देश ने २०१४ तक तक देखा...!!
फिर यह सब देख कर देश की जनता ने करवट बदली और वो देखना शुरू कर दी कि कैसे आतंकियों को जन्म देने वाली पड़ोसी अम्मी ने अपनी गलती का परिणाम सर्जिकल और एयर स्ट्राइक के रूप मे भुगता......यह भी देख रहा है कि कैसे यमन,सीरिया से लेकर अफगानिस्तान से गिद्धों की आँख मे आँख डाल कर अपनो को सुरक्षित निकाल लाने का बूता दिखाया ही नही बल्कि किसी की एक भी गलती के बाद उसको भी मुंहतोड़ जवाब देने के लिये कमर कस चुकी है......जनता तो यह भी देख रही है कि देश मे जयचंदों की बड़ी जमात होने के बाद भी भारत कैसे प्रगति करता जा रहा है....कैसे भेड़ियों के हुंआ हुंआ करके चीखने के बाद भी भारत सशक्त,समर्थ और समृद्ध होता जा रहा है...सब कुछ तो जनमानस देख और समझ रहा है...!!
यह सब वो हो रहा है जो मैडम के रोबोट के समय मे सपना था.... मोदी जैसा दमदार पी.म. ही यह कर सकता है......वैसे जो मै कहने जा रहा हूं उसे सुन कर सेकुलर,लिबरल और लुटियन लॉबी का अंग अंग सुलग जायेगा...पक्का!!
आतंक की अम्मा बनने का शौक रखने वाले पाकिस्तान और अपने देश मे रहने वाले उसके सगे सम्बंधियों का सारा रूआब तो बालाकोट मे की गई एयर और फील्ड स्ट्राइक से ही उतर चुका.....लेकिन वो नस्ली तौर दोगला और बेहया हैं......इसीलिये चीन,तुर्की और बाइडेन की सम्मिलित साजिश से गद्दी हथियाये जाहिल तालिबानी दोगलो के दम पर फिर फुदकना शुरू कर दिया हैं.........वैसे तो उसकी एटम बम वाली पिलपिली धमकी की पोल भी पूरी दुनिया के सामने खुल गई....उसका सारा भूत उतर गया....अकेले लड़ने की औकात भूल चुका है....इसलिये अब वो अपने दो समर्थकों के बल पर भारत से लड़ना चाहता है....एक वो देश है जो भारत विरोधी है...दूसरे वो...जो भारत मे रहते ही नही,यहीं का खाकर,इसी भूमि से शत्रुता निभाने का कोई मौका नही छोड़ते है..इसमे कई राजनैतिक दलो के साथ सेकुलर,लिबरल,लुटियन,बड़की बिंदी,नोटा,एवार्ड वापसी गैंग,के अलावा अर्बन नक्सली हैं..!
इसी सन्दर्भ मे बात की जाय उस #अफगानिस्तान की...!!
जिसे अब देश के रूप में नही देखना चाहिये,अब ये आंतकवाद का गढ़ बन चुका है..अगर वैश्विक ताकतें एकजुट होकर नियंत्रण न कर पायीं तो यह आने वाले समय मे दुनिया के हर इस्लामी आतंकी संगठनों के हेडक्वार्टर के रूप मे कुख्याति हासिल कर सकता है...............राजनीतिक और भगोलिक परिस्थितियों को देखे तो अब यहां कुछ समय शाँति की कल्पना करना बेवकूफी होगी,क्योंकि सत्ता जिनके हाथ मे है उन्हें सत्ता चलाना नही आता,ऊपर से देश की आर्थिक स्थिति दयनीय...10 से ज्यादा आंतकी कबीलों का ग्रुप........पाकिस्तानी आंतकी ग्रुप का हस्तक्षेप....पूरी तरह नशीली वस्तुओं और विदेश से मिलने वाले धन पर निर्भर इकोनॉमी...पावर शेयरिंग के लिये लड़ सकने वाले अलग अलग संगठन..............ऊपर से पंचशीर से अब्दुल्ल मसूद के नार्दर्न एलायंस की सेना का प्रेशर...खैर..गेम तो अभी शुरू हुआ है।
बहरहाल हमे भविष्य के सम्भावित खतरे के लिए अभी से तैयार रहना चाहिये.......एक तरफ जहां पाकिस्तान तालिबान को भारत के खिलाफ प्रयोग करना चाह रहा है वहीं दूसरी तरफ तुष्टिकरण के लिये अपनी पैंट उतारने मे भी संकोच न करने वाली पार्टियों के साथ देश के बिलों,बांबियों मे छिपे मानव रूपी विषैले जंतु भी मोदी जी को हटाने के लिए तालिबान और पाकिस्तान का साथ देमे मे जरा भी संकोच नही करेंगे.......इसलिए हर हाल में जागते रहिये,आने वाला समय बहुत ही खतरनाक हो सकता है...यह मै इसलिये कह रहा हूं कि कहीं किसी पोस्ट मे पढ़ा था..उसी को बता रहा हूं कि भले ही इस्लाम में अहमदी गोलकीपर,शिया डिफ़ेंडर,सुन्नी मिडफ़ील्डर,वहाबी स्ट्राइकर होते हैं..लेकिन अंदर से ये सब एक ही मानसिकता मे जीते है...और कुल मिला कर इन सबका गेमप्लान एक ही है...उस हिंदुत्व के पाले में गोल दागना...जिसको इनके पुरखे भी मिटा न पाये हैं और न मिटा पायेंगे....लेकिन दुर्भाग्य से हिंदू टीम में सैक्यूलर,लिबरल,नोटा नाम के कुछ दोगले प्लेयर भी मौजूद है जो जानबूझ कर सेल्फगोल करके इनकी मदद के लिये हर समय तैयार रहते है..!!
एक बात तो मान लीजिये कि पाकिस्तान जैसे बेहया और चिकने घड़े मुल्क को सबक सिखाने की औकात अगर किसी माई के लाल मे है तो श्रद्धेय हीराबेन के 56" सीने वाले लाल मे है....देश के बाकी बम बहादुर तो देहाती औरत जैसा अपमान जनक सम्बोधन सुनने के बाद भी कान मे रूई ठूंस कर,ड्राइंग रूम मे बैठ कर पाकिस्तान से दो दो हाथ करने की योजना बनाते रह गये.......उन्ही सेकुलर,लिबरल,लुटियन और विदेशी नगर वधू के द्वारा जन्मे बयान बहादुर पूतों को बताना चाहता हूं कि मोदी को ही उर्दू मे खौफ...हिंदी मे भय.....अंग्रेजी मे फियर और विशुद्ध संस्कृति मे फटति फटत: फटन्ति कहते हैं...दोगलों यही वो मोदीफोबिया है जिससे तुम ही नही...पाक,चीन के साथ फिरंगन और उसकी संकर औलादें तक कांप रही हैं.....!!
फिलहाल अंत मे दो बात जरूर कहना चाहता हूं कि ....पता नही क्यों हम भविष्यवक्ता नास्त्रेदमस को तो याद करते हैं लेकिन जाने क्यों लोग अर्थशास्त्री उन माल्थस को भूल जाते है जिन्होने जनसंख्या के ऊपर कहा था कि प्रकृति अपना संतुलन खुद बना लेती है और इसके कारक होते हैं......भीषण युद्ध,महामारी,अकाल और सूखा..आज यह सब कुछ हमारी आँखों के सामने घट रहा है..............................दूसरी बात जिसे समझना सबसे जरूरी है कि पहले ये कौम गिड़गिड़ाकर शरण मांगने का भावात्मक ड्रामा करती...फिर धीरे धीरे अलतकिया वाली मुस्कराहट की आड़ मे जनसंख्या बढ़ाती है...और अंत मे बड़ी बेहयाई से शरिया कानून की मांग करना उनकी पूरी दुनिया को हरे रंग मे रंग कर निजामे मुस्तफा लाने वाली स्ट्रेटेजी का एक चरण है..जिसे वो पिछले कई दशकों और सदियों मे सफलता पूर्वक अंजाम तक पहुंचा कर एक नये लक्ष्य की ओर बढ़ चुके हैं.............अब इस मजहबी रणनीति को कोई न समझे तो उसका परमात्मा ही मालिक है....बंधुओं..यह समय हम हिंदुओं को एकजुट और संगठित रहने के साथ अपने नेतृत्व मे भरोसा रखने का है...बाकी मेरा विचार है...कि मुझे नही लगता है कि चीन के इशारे पर काम करने वाला अमेरिकी अर्बन नक्सली बाइडनवा अपना चार साल वाला कार्यकाल पूरा कर पायेगा....देखते हैं...!!
जय जय भारत --- 🙏
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